हर छठा मरीज पेट और फेफड़ों की बीमारी से परेशान

– जिले के 33 स्वास्थ्य केंद्रों में आयोजित आरोग्य मेले में पहुंचे 1234 मरीज

– मरीजों में 22 फीसदी बच्चे भी रहे शामिल
माई सिटी रिपोर्टर
नोएडा। जिले के 33 शहरी और ग्रामीण स्वास्थ्य केंद्रों पर रविवार को मुख्यमंत्री आरोग्य स्वास्थ्य मेले का आयोजन किया गया। इस दौरान 1234 लोग उपचार के लिए पहुंचे। इनमें से हर छठा मरीज फेफड़ों और पेट की बीमारी से पीड़ित मिला। मेले में पहुंचे कुल मरीजों में 22 फीसदी बच्चे शामिल रहे।

जिला मलेरिया एवं आरोग्य मेले के नोडल अधिकारी राजेश शर्मा ने बताया कि 46 डॉक्टरों और 117 पैरा मेडिकल स्टाफ के सहयोग से स्वास्थ्य मेले का आयोजन हुआ। इस दौरान पुरुष लाभार्थियों की संख्या 516 और महिलाओं की संख्या 442 रही। जबकि 276 बच्चे भी उपचार के लिए पहुंचे। सांस की तकलीफ से जुड़े 180 और पेट संबंधित बीमारियों से परेशान 182 मरीजों ने डॉक्टरों से परामर्श लिया। सांस की तकलीफ से जुड़े अधिकांश मरीज ऐसे थे, जो कोरोना पॉजिटिव रह चुके हैं। बार-बार सांस उखडऩे पर कोरोना वायरस के डर से परेशान कई मरीज आरोग्य मेले दिखे। मेले के दौरान 12 लोगों के गोल्ड कार्ड भी बनाए गए।

सर्दी-जुकाम के मरीजों में कोरोना का डर
मेले में बुखार से पीड़ित मरीजों की संख्या 56 रही, लेकिन कोविड हेल्पडेस्क पर जांच के लिए पहुुंचने वालों की संख्या 216 दर्ज की गई। इनमें से 47 लोगों की एंटीजन जांच कराई गई। एक भी मरीज पॉजिटिव नहीं निकला। सर्दी-जुकाम और गले में दर्द से पीड़ित कोरोना के डर से कोविड हेल्पडेस्क पर पहुंचे।

बुखार के हर मरीज की कोविड जांच
संचारी रोग नियंत्रण अभियान जारी है। इस बार मच्छर जनित बीमारियों के साथ हीटवेव के खतरे से भी लोगों को आगाह किया जा रहा है। बुखार के हर मरीज की कोविड और मलेरिया जांच के निर्देश शासन की ओर से दिए जा चुके हैं। आरोग्य मेले में 86 बुखार के मरीजों में से 59 की मलेरिया और 47 की कोविड जांच की गई।

किस बीमारी के कितने मरीज

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गैस्ट्रो 182
सांस 180
त्वचा 222

मधुमेह 41

बुखार 86
हाइपरटेंशन 23

अन्य 500